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अप्रैल, 2019 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

best tips that will save you from blood pressure disease

 क्या आप भी है रक्तचाप ( Blood Pressure ) से परेशान ? ह्रदय रोग ( Cardiovascular disease) हमारे देश में मृत्यु का मुख्य कारण है | परंतु अधिकतर मृत्यु का कारण उच्च रक्तचाप (high blood pressure) होता है |  Blood pressure हमें यह मानकर चलना चाहिए कि उच्च रक्तचाप द्वारा हमें अधिक काम करना पड़ता है | अधिक काम करने से हृदय के पट्टे मोटे हो जाते है, और बढ़ जाते हैं |  जिस कारण हृदय रक्त का पंप करने में कमजोर हो जाता है | जिस कारण रक्त फेफड़ों में तथा शरीर के अन्य भागों में एकत्रित हो जाता है |  अधिक रक्तचाप का प्रभाव जब त्वचा पर पड़ता है |  तो नाड़ी किसी कमजोर स्थान से कट जाती है | उच्च रक्तचाप (high blood pressure) का मतलब यह है, कि किसी व्यक्ति का रक्तचाप हर समय ऊंचा रहे तभी हमें मानना चाहियें कि यह रक्तचाप का मरीज है | कई बार रक्तचाप मानसिक स्थिति से अथवा अधिक व्यायाम,परिश्रम करने से भी बढ़ जाता है | रक्तचाप की बीमारी किसी एक कारण से नहीं होती इसके होने के के कारण मिल जाते हैं | उच्च रक्तचाप के कोई लक्षण नहीं होते कई बार बीमार लोगों को ज्ञात ही नहीं होता कि उन्हें ब्लडप्रेशर हैं |  इसीलिए से &

how to gain weight by honey

क्या आप अधिक पतले है ? तो करे यह उपाय    दोस्तों जिस तरह अधिक मोटापा स्वस्थ शरीर के लिए अभिशाप है | उसी तरह अधिक पतला होना भी एक स्वस्थ शरीर में बीमारी के लक्षण दर्शाता है | और भी ना जाने कितनी ही समस्यओं का सामना करना पड़ता है | अधिक पतले व्यक्ति को अपने जीवन में | आज हम आपको शहद के एक ऐसे गुण के बारे में बता रहे है | जिससे आप अपना वजन  बढ़ा  सकते है |     how to gain weight अधिकतर पतले व्यक्ति  वजन बढ़ाने के लिए गरिष्ठ भोजन एवं पौष्टिक आहार का अधिक सेवन करते हैं  |  परंतु पाचन क्रिया दुर्बल होने के कारण ऐसा आहार हजम नहीं होने से कब्ज, गैस, अपच, दस्त एवं दुर्बलता बढ़ती है | दुर्बल व्यक्ति जितना आहार खाता है इसमें से थोड़ा हिस्सा ही हजम कर पाता है | और शेष भाग बिना पचे ही निकल जाता है |  वास्तव में शरीर का दुर्बल भोजन के पोषक तत्वों की कमी होना नहीं बल्कि हमारे पाचन यंत्रों का शिथिल और मंद होना है | ऐसे रोगियों को गरिष्ठ भोजन की आवश्यकता नहीं |  बल्कि पाचन और पोषण यंत्रों को ठीक करने की है | अगर यह यंत्र ठीक कर दिए जाएं तो उनके वजन बढ़ाने में कोई कठिनाई नहीं आ सकती शहद एक ऐसा भोज्य पदार

Special on World Health Day

स्वस्थ रहने के कुछ महत्वपूर्ण सिद्धांत : नमस्ते दोस्तों आज विश्व स्वास्थ्य दिवस है | इसलिए स्वस्थ जीवन के कुछ उपाय बता रहे  है |  अगर अच्छे लगे तो जरूर अपनाएं |   Healthy person 1 . सुबह जल्दी उठना चाहिए | 4:30 बजे सुबह अथवा सूर्योदय से पहले तो बिस्तर छोड़ देना चाहिए | सुबह जल्दी उठने से आपको अपने लिए और जीवन में कई महत्वपूर्ण कार्यों को करने के लिए समय मिलेगा | अगर सुबह सुबह प्रसन्न होकर जागे एवं दिन की शुरुआत मुस्कुराते हुए करें | प्रतिदिन सुबह उठकर एक बार ठहाका लगाकर हँसना ( laughter yoga ) चाहिए |  2. प्रतिदिन सुबह उठकर अपने हाथों को अपनी आँखों के सामने लाकर उन्हें देखे और ईश्वर का ध्यान करे | अगर हो सके तो इस मन्त्र का जाप करे | कराग्रे वसते लक्ष्मीः करमध्ये सरस्वती | करमूले तु गोविन्दः प्रभाते करदर्शनम ||   3. सुबह उठकर अधिक पानी ना पियें | नित्यकर्म जाने से पहले एक गिलास पानी पी सकते है | सुबह अधिक  पानी पीने से गुर्दों को अधिक मेहनत करनी पड़ती है | मल-मूत्र त्यागने में समस्या आ सकती है | सुबह अधिक पानी पीने से ह्रदय एवं हड्डियों के रोग होने की संभावन बनी रहती है | 4. प्राणायाम ,

Garlic is the medicine of many diseases

क्या आप जानते है लहसुन के इन गुणों के बारे में ? लहसुन का प्रतिदिन सेवन नजला , जुकाम और श्वास संबंधी रोगों के लिए वरदान है  लहसुन में पोटेशियम, जिंक और गंधक काफी मात्रा में पाए जाते हैं | जिनकी कमी से मधुमेह रोग (diabetes) होने की संभावना बनी रहती है |  Garlic अगर आपके मूत्र में शुगर आता है | तो आप लहसुन के रस का एक छोटी चम्मच का दिन में तीन बार सेवन करें आपके मूत्र में शुगर का आना रुक हो जाएगा | यह नुस्खा बहुत ही चमत्कारी है एक बार प्रयोग अवश्य करे | लहसुन में एंटी बैक्टीरियल एवं एंटी वायरल गुण होते हैं | लहसुन पेट की गैस को तो दूर करता ही है साथ ही दमा, मधुमेह, गुर्दों की बीमारी एवं मर्दानगी की कमजोरी को दूर करने में लहसुन उपयोग का विशेष लाभप्रद है| लहसुन में 3 प्रतिशत वाष्पशील तेल पाया जाता है जो छूत की बीमारियों के लिए बहुत ही उत्तम है यह तेल छूत की बीमारियों के कीटाणुओं को नष्ट करता है | लहसुन खून में कोलेस्ट्रोल की मात्रा को कम करता है | जिससे लहसुन का प्रतिदिन सेवन करने से दिल का रोग (Heart disease) नहीं होता है अतः लहसुन का प्रतिदिन सेवन

Gooseberry beneficial in respiratory diseases

  श्वास संबंधी बीमारियों में गुणकारी है आंवला : आंवला : अलौकिक एवं आश्चर्यजनक फल है आंवला , आयुर्वेद में ऐसे इसे रसायन की संज्ञा दी गई है | आंवले के ताजे रस को शहद मैं मिलाकर या  ताजे आंवला फलों को चबाकर सेवन करने से श्वास रोगों में आश्चर्यजनक लाभ होता है |  आंवले की चटनी प्रतिदिन प्रयोग की जा सकती है , ताजे आंवलो को काट कर या सूखे आंवलो को चार-पांच घंटे पानी में भिगोकर हरा धनिया तथा पुदीना के सहयोग से ताजी चटनी प्रतिदिन बनाई जा सकती है | यह चटनी स्वास्थ के लिए बहुत ही लाभदायक है |  आंवला  आवंला एक त्रिदोषनाशक फल है , अर्थात यह अपने खट्टेपन के गुण से वात रोगों के लिए ,मीठे एवं ठंडक वाले गुण से पित्त रोगों को और कसैलेपन एवं रूखेपन वाले गुण से कफ़ को नष्ट करता है | इस तरह आंवला तीन तरह के रोगों के लिए बहुत ही हितकर है | और इन तीन रोगों वात,कफ़,पित से ही हमारे शरीर में बीमारियाँ जन्म लेती है | आंवला कल्प से जिन बीमारियों में लाभ होता है वह है : "असमय बुढ़ापा , संधिशोथ , डायबिटीज , मधुमेह , तपेदिक , मोतिया बिन्द , उपदंश ,  हृदय रोग , कैंसर , दमा , कब्ज , ब्लडप्रेशर , पित्ताश्मरी , पेशाब